जय गोलज्यू महाराज Kumaoni composition wrote by Utterakhandi Poet Bhuvan Bisht

 


(कुमाऊनी रचना)
जय गोलज्यू महाराज

जय जय देव गोलज्यू महाराज।
न्यायी देव तुम छा भौत महान।
न्यायी देव छन नाम तुमौर,
हामं सदा करनूं गुणगान।
जय काठ कौ घोड़ा चमत्कारी।
शीश पगड़ी करछा घौड़ सवारी।
जय जय देव बाला गोरिया।
सदा हामरिं तुम लाज धरिया।
चम्पावत में गोलज्यू निवासा।
चितई और घोड़ाखाल में वासा।
जन जन चिट्टी लै न्याय मांगनी।
घंटियों मंदिर गोलज्यू कहलानी।
आराध्य ईष्ट जय जय गोलू देव।
गौ गौनूंमें बणीं छन तुमरौ थान।
जय जय देव गोलज्यू महाराज।
न्यायी देव तुम छा भौत महान।
न्यायी देव छन नाम तुमौर,
हामं सदा करनूं गुणगान।
जय जै न्यायीकारी कृष्णावतारी।
जै बालागोरिया ग्वेल दूधाधारी।
भौल बुलाण भलिं मति दिया।
सदा भौल बाट हामूकैं दिखाया।
जय गोलू देवा तुम भौत वरदानी।
तुमौर चरणों में सब शीश झुकानी।
तुम जन जन खुशहाल करिया।
देव आशीष दिया धरिया ध्यान।
जय जय देव गोलज्यू महाराज।
न्यायी देव तुम छा भौत महान।
न्यायी देव छन नाम तुमौर,
हामं सदा करनूं गुणगान।

रचनाकार- भुवन बिष्ट
मौना (रानीखेत), उत्तराखंड
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