आह्वान -40

विज्ञानकु
आह्वान - 40

यही सपना
वैज्ञानिक चेतना
हो समाज में।

चेतना तब
नींबू मिर्ची का टोना
छूटेगा जब।

चेतना तब
बाबाओं की दुकान
न होंगी जब।

लो यह जान
नहीं है भगवान
कोई इंसान।

बंद हो अब
मानना जादू टोना
भाग्य का रोना।

- सुभाष चंद्र लखेड़ा

 

उत्तराखंड की लगूली

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